Minimum Support Price (MSP): कृषि उद्योग को सशक्त बनाने के लिए और किसानों का विकास करने के लिए MSP निभाएगा अहम भूमिका

MSP (Minimum Support Price) किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण योजना है जो उन्हें खेती के लिए सुरक्षित मूल्य देने में मदद करती है। यह भारत सरकार द्वारा शुरू की गई योजना है जिसका मुख्य उद्देश्य किसानों को उनके उत्पादों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य प्रदान करना है। MSP का उद्देश्य है किसानों को खेती में लगाये गए प्रयासों के मूल्य के अनुसार उचित मूल्य प्राप्त करने में मदद करना। इसके माध्यम से, सरकार किसानों को अपने उत्पादों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी देती है, जो उन्हें खेती करने के लिए प्रेरित करती है और उन्हें आर्थिक स्थिरता प्राप्त करने में मदद करती है। इस तरह, MSP किसानों को खेती के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने का माध्यम बनती है और उन्हें आर्थिक सुरक्षा प्रदान करती है।

Minimum Support Price और भारत में खाद्य सुरक्षा

Minimum Support Price प्रणाली भारत में खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एक महत्वपूर्ण साधन थी। कृषि की अद्वितीय प्रकृति के कारण, किसानों के पास अपने उत्पादन की कीमत निर्धारित करने, या तो प्रभाव डालने की क्षमता नहीं होती है। यह ‘बाजार विफलता’ का एक उदाहरण है। MSP हर साल 23 फसलों के लिए घोषित किया जाता है, जो कि खरीफ और रबी ऋतुओं को ढकता है, बुवाई से कहीं पहले, जिसमें 21 खाद्य फसलें होती हैं।

Minimum Support Price और भारत में खाद्य सुरक्षा

PM-AASHA और Minimum Support Price के तहत शामिल फसलें

PM-AASHA में मूल्य समर्थन और मूल्य हीनता भुगतान के लिए योजनाएं शामिल हैं, साथ ही MSP सुनिश्चित करने के लिए निजी व्यापारियों को प्रोत्साहन देता है। MSP के तहत शामिल फसलों में खरीफ फसलें (कुल 14), जैसे कि paddy, jowar, bajra, maize, ragi, tur/arhar, moong, urad, groundnut, soyabean, sunflower, sesamum, niger seed, cotton; रबी फसलें (कुल 06) जैसे कि wheat, barley, gram, masur/lentil, rapeseed and mustard, और safflower; और वाणिज्यिक फसलें (कुल 02) जैसे कि jute और copra शामिल हैं।

CACP और Minimum Support Price निर्धारण

CACP, जो कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय का एक संलग्न कार्यालय है, MSP का निर्धारण करता है। यह सरकार द्वारा CACP द्वारा की गई सिफारिशों का व्यापक अध्ययन करने के बाद होता है। MSP का उद्देश्य किसानों को उनकी फसलों के लिए न्यायसंगत मूल्य प्रदान करना है, ताकि वे अपनी आय में सुधार कर सकें और खेती को एक आर्थिक रूप से लाभकारी व्यवसाय बना सकें। इसके अलावा, MSP निर्धारण प्रक्रिया भारतीय कृषि के विकास को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।

minimum support price

FAQ/S

 1. MSP  क्या होता है? 

MSP का मतलब होता है मिनिमम स्पोर्ट मूल्य। जिसके अंदर  भारत सरकार कुछ फसलो का न्यूनतम दाम तय कर देती है अगर किसान को उस न्यूनतम दाम से ज्यादा पैसे कहीं मिल रहे हैं तो वह उस जगह अपनी फसल बेच सकता है। पर अगर  किसान को MSP के नीचे पैसे मिल रहे हैं तो व सरकार को MSP के अंतर्गत अपनी फसल बेच सकता है। 

2. MSP के अंदर कितनी फसलें आती हैं? 

MSP  के अंदर कुल 22 फ़सलों को भारत सरकार द्वारा चुना गया है। 

3. MSP कब तय होता है? 

MSP हर साल फसल उगने के 6 महीने से 1 साल पहले ही तय हो जाता है। 

भारत में 80% लोग कृषि के क्षेत्र में कार्य कर रहे हैं इस से दर्शाया जा सकता है कि भारत की रीढ़ की हड्डी उसका कृषि क्षेत्र ही है इसलिए भारत सरकार ने MSP(एमएसपी) लागू करके किसानों को सहायता प्रदान करने का फैसला किया है । जो किसान अपनी फसल का है सही दाम नहीं पा रहे थे उन ही लोगों के लिए  भारत सरकार ने MSP लागू किया है जिससे उन्हें उनकी फसलों का सही दाम मिल सके और वे भारत के विकास में एक अहम भूमिका निभा सके। 

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